अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम के भारत में फैले ड्रग्स के काले कारोबार के गिरोह का सरगना जिले के सलीम डोला का नाम आने के बाद जौनपुर का नाम चर्चा में आ गया। मुंबई के मीरा भायंदर के पुलिस आयुक्त मधुकर पांडेय ने जिन 15 लोगों की गिरफ्तारी का खुलासा किया, उसमें से दो जौनपुर के हैं। हालांकि सलीम डोला अभी भी फरार चल रहा है।
दाऊद गिरोह से जिले का नाम जुड़ने के बाद बृहस्पतिवार को पुलिस तस्करों का पता दिनभर खंगालती रही। हालांकि सिर्फ एक ही तस्कर का पता लग सका, जबकि दो का पता नहीं चल सका। मुंबई में अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम के जिस ड्रग्स कारखाने का पुलिस ने भंडाफोड़ किया है। उसकी निगरानी करने में जौनपुर का सलीम डोला का नाम आया है। वह दुबई और तुर्की में बैठकर दाऊद के इस काले कारोबार को पूरे भारत में चलाता था। वह जिले के मड़ियाहूं तहसील का रहने वाला हैं। ड्रग्स कारखाने से 327 करोड़ का ड्रग्स पकड़ा गया। साथ ही 15 लोगों की गिरफ्तारी की गई। इसमें भी जौनपुर के दो तस्कर अभिषेक सिंह और घनश्याम सरोज शामिल हैं। अभिषेक सिंह मड़ियाहूं कोतवाली के मीरपुर का रहने वाला है। इसके पिता मुंबई में ट्रक चालक का काम करते हैं। इसकी तीन बड़ी बहनों की शादी हो गई है। घर पर ताला लटका रहता है। आसपास के लोगों ने बताया कि अभिषेक ने गांव से ही इंटर तक की पढ़ाई की, इसके बाद मुंबई चला गया। अक्सर दो से तीन महीने पर वह घर लौटता था तो उसकी रईसी देखकर लोगों को शक होता था। इसके पास पैतृक दो से ढाई बीघा जमीन है। पिछले सात सालों से अभिषेक उर्फ शुभम सिंह मुंबई में रहकर इस तरह के काम को अंजाम दे रहा था। चर्चा है कि यहां गांव में भी उसके द्वारा कुछ युवकों को गुमराह कर उनसे इस तरह का कार्य करवाया जा रहा था। वहीं पकड़े गए दूसरे आरोपी घनश्याम सरोज का पता नहीं चल सका। हालांकि तीन दिन पूर्व एसटीएफ द्वारा मड़ियाहूं क्षेत्र के एक गांव से एक युवक को उठाकर पूछताछ करने के बाद उसे छोड़ दिया गया। उसके खाते से भी लाखों रुपये के लेनदेन हुए थे।